क्या उत्तराखंड में बड़ी आपदा लाने की तैयारी कर रहे हैं खनन माफिया?भागीरथी नदी के प्रवाह (Mining Mafia Bhagirathi River Uttarkashi) को कर डाला डाइवर्ट
अवैध खनन सरकार के लिए सबसे बड़ा सिरदर्द है। इस पर अंकुश लगाने के लिए सरकार कई कदम उठा चुकी है मगर उत्तराखंड में धड़ल्ले से अवैध खनन चालू है। बात की जाए उत्तरकाशी में भागीरथी नदी (Mining Mafia Bhagirathi River Uttarkashi) की तो वहां पर भी अवैध खनन माफिया खुलेआम अवैध खनन कर रहे हैं और उनके हौसले इस कदर बुलंद हो गए हैं कि वे अब नदी के प्रवाह के साथ भी छेड़खानी करने में लगे हुए हैं। ऐसे में निरंकुश हो रखे अवैध खनन माफिया के भागीरथी नदी के प्रवाह के साथ छेड़खानी करने से उत्तराखंड में कोई नई आपदा आ सकती है। एक रिपोर्ट के मुताबिक डुंडा के सैणी में भागीरथी नदी में बेखौफ खनन माफियों ने नदी के प्रवाह को डायवर्ट कर सड़क बना डाली है। जी हां, न केवल यह आपदा के लिहाज से खतरनाक है बल्कि नदी के प्रवाह से छेड़छाड़ इसके अस्तित्व को खतरे में डाल सकता है। स्थानीय प्रशासन तक को इस बात की खबर तक नहीं है। दरअसल भागीरथी नदी में जगह-जगह अवैध खनन जोरों-शोरों से चल रहा है। खनन माफिया निरंकुश हो रखे हैं और बेरोक -टोक भागीरथी नदी को नुकसान पहुंचाने का काम रहे हैं। आगे पढ़िए..
पहले केवल अवैध खनन तक ही सीमित रहने वाले यह माफिया अब प्रकृति को नुकसान पहुंचा रहे हैं और इतना ही नहीं अब तो खनन माफिया नदी के प्रवाह के साथ भी छेड़छाड़ करने से बाज नहीं आ रहे हैं। डुंडा के सैणी में खनन माफियों ने खनन के लिए नदी के प्रवाह से छेड़छाड़ कर दी है। खनन की आड़ में उन्होंने बीच नदी में पानी को डायवर्ट कर सड़क बना डाली है। अचंभित करने वाली बात तो यह है कि प्रशासन को इस बात की जरा भी खबर नहीं है। इससे प्रशासन की भूमिका पर भी सवाल खड़े होते हैं। वहीं स्थानीय लोगों का कहना है कि आखिर कब तक खनन के नाम पर नदी के अस्तित्व के साथ छेड़छाड़ होता रहेगा और प्रशासन क्यों नहीं इसको लेकर सख्त दिखाई दे रही है। लोगों का कहना है प्रशासन के रवैये के कारण ही खनन माफिया (Mining Mafia Bhagirathi River Uttarkashi) के हौसले बुलंद हैं और खनन के लिए वे नदी से छेड़छाड़ कर रहे हैं। वहीं गंगा विचार मंच के प्रदेश सह संयोजक लोकेन्द्र बिष्ट में कहा कि गंगा नदी में जलधारा और नदी में खनन करना ठीक नहीं है और प्रशासन को इस मुद्दे पर संज्ञान लेते हुए आरोपियों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्यवाही करनी चाहिए।